Sunday, October 23, 2011

टीम अन्ना पर चला है अब तक सबसे नुकीला तीर

टीम अन्ना पर चला है अब तक सबसे नुकीला तीर


भ्रष्टाचार के खिलाफ अन्ना हजारे के आंदोलन के खत्म होने के बाद विवादों का जो सिलसिला शुरू हुआ है वो अब अपने चरम पर पहुंच गया है.
टीम अन्ना के सदस्य रहे स्वामी अग्निवेश का दावा है कि अन्ना के आंदोलन और इंडियन अगेंस्ट करप्शन के नाम जो चंदा मिल रहा था वो अरविंद केजरीवाल के एनजीओ पब्लिक कॉज़ रिसर्च फाउंडेशन के अकाउंट में जमा किया गया.
इस संस्था में अन्ना हजारे की कोई हैसियत नहीं है. कांग्रेस ने इस खुलासे के बाद जांच की मांग कर दी है.
स्वामी अग्निवेश ने जो दावे किए हैं उसको न तो गलत ठहरा पा रही है टीम अन्ना, न झुठला पाई है टीम अन्ना. स्वामी अग्निवेश ने जो दावे किए हैं उसके बारे में कभी टीम अन्ना ने खुलासा नहीं किया था.
स्वामी अग्निवेश ने दावा किया है कि अन्ना हजारे के अनशन के दौरान इंडिया अगेंस्ट करप्शन ने जो चंदे जमा किए थे, वो न तो अन्ना हजारे के खाते में जमा हुए, न इंडिया अगेंस्ट करप्शन के खाते में. 80 लाख के चंदे की रकम पीसीआरएफ नामक एनजीओ के खाते में जमा हुई.
पीसीआरएफ एनजीओ मुख्य रुप से अरविंद केजरीवाल ने 2006 में शुरू किया था. मनीष सिसोदिया और अभिनंदन सेखरी इसके ट्रस्टी हैं
अन्ना हजारे पीसीआरएफ  में कुछ भी नहीं हैं. न संस्थापक, न सदस्य, न ट्रस्टी. फिर भी अन्ना के आंदोलन के नाम पर जमा हुई रकम पीसीआरएफ  के अकांउट में जमा हुई.
अग्निवेश का दावा
अग्निवेश का दावा है कि अन्ना हजारे ने भी इस पर एतराज जताया था. फिर भी पैसे पीसीआरएफ  के अकाउंट में ही जमा होते रहे.
स्वामी अग्निवेश ये तो नहीं कर रहे हैं कि आंदोलन का मिला किसी ने हड़प लिया लेकिन उन्होंने टीम अन्ना में पारदर्शिता को लेकर सवाल जरूर खड़े कर दिए हैं.
स्वामी अग्निवेश के इतने गंभीर आरोपों पर जवाब देने के लिए न तो अन्ना हजारे सामने आए. न अरविंद केजरीवाल बोले. न किरन बेदी या प्रशांत भूषण-शांति भूषण ने कुछ कहा. मीडिया को जवाब देने का जिम्मा संभाला टीम अन्ना की तीसरी पंक्ति के मनीष सिसोदिया और कुमार विश्वास ने. दावा किया कि लोगों को जानकारी थी कि चंदा पीसीआरएफ के अकाउंट में जमा किया जा रहा है.
टीम अन्ना की विश्वसनीयता पर टीम के ही पूर्व सदस्य ने सवाल उठाए तो कांग्रेस को भी बोलने का मौका मिल गया. कांग्रेस ने मांग कर दी है कि सरकार को इसकी जांच करनी चाहिए.
कांग्रेस सत्यब्रत चतुर्वेदी का कहना है कि जिस तरह से आरोप लगाए गए हैं उससे संदेह होता है और मामले की जांच होनी चाहिए.
बीजेपी ने बिना किसी जांच के टीम अन्ना को क्लीनचिट दे दी. बीजेपी ने तो अग्निवेश पर ही सवाल उठा दिए.
बीजेपी के नेता शाहनवाज हुसैन ने कहा कि अग्निवेश कांग्रेस के इशारे पर काम कर रहे हैं.
सवाल ये है कि क्या इतने बड़े आरोप के बाद भी अन्ना हजारे मौन रहेंगे? क्या केजरीवाल देश को जवाब देंगे कि अन्ना के आंदोलन के नाम पर जमा हुआ पैसे ऐसे किसी ट्रस्ट में कैसे जमा हुआ जिसमें अन्ना हजारे की कोई हैसियत नहीं हैं

News Source : http://star.newsbullet.in/india/34-more/17343-2011-10-23-13-56-38
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